शुक्रवार, 16 फ़रवरी 2018

पुस्तक विमोचन वक्त का में लिपिक यश मालवीय

**पुस्तक का जन्म उत्सव

**गीत संग्रह  

वक्त का मैं लिपिक

काा हुआ विमोचन

              इलाहाबाद में जीजीआईसी के मैदान में लगे पुस्तक मेले में देश के सुप्रसिद्ध गीतकार कवि और साहित्यकार यश मालवीय के नए गीत संग्रह वक्त का मैं लिपिक का विमोचन साहित्यकार डॉक्टर राजेंद्र कुमार डॉक्टर ए एस फातमी डॉक्टर अनीता गोपेश डॉक्टर मुश्ताक अली वरिष्ठ कवि हरीश चंद्र पांडे और अजामिल ने संयुक्त रूप से किया लोकभारती द्वारा प्रकाशित इससे काव्य संग्रह मैं शामिल किए गए गीतों की चर्चा करते हुए वक्ताओं ने कहा यश मालवीय के गीत आज के समाज की सीधी सच्ची तस्वीर पेश करते हैं और हमें अंदर से विषम परिस्थितियों से लड़ने की क्षमता भी प्रदान करते हैं यश के गीतों पर हमारी अपनी जिंदगी की सीधी सरल और सहज सुगबुगाहट मौजूद है यश को गीत लिखने की प्रेरणा परंपरा से मिली है उनके पिता उमाकांत मालवीय देश के प्रथम पंक्ति के गीतकारों में रहे यश अपने पिता की तरह ही प्रयोगधर्मी गीतकार हैं शायद इसीलिए वह गीतकारों के भीड़ में अलग दिखाई देते हैं यश ने अपने गीतों के लिए जमीन की तलाश तमाम छोटे बड़े सामाजिक संदर्भों मैं ही की है सबसे बड़ी बात यह है की यश के गीत गाने पर और भी ज्यादा ऊर्जावान हो जाते हैं यश ने अपने गीतों में सच को बड़े बेबाकी से कहा है यश अपने गीतों को अभिव्यक्ति का हथियार मानते हैं और समाज को बदलने के सिलसिले में जरूरी भी इस अवसर पर यश नहीं अपने गीतों का पाठ भी किया इस अवसर पर साहित्यकार उर्मिला जैन महेंद्र राजा जैन शैलेंद्र जय शाश्वत रतन सहित बड़ी संख्या में साहित्यकार मौजूद रहे इस विषय पर संगोष्ठी का संचालन वरिष्ठ पत्रकार धनंजय चोपड़ा ने किया धन्यवाद ज्ञापन लोक भारती के संचालक स्वामी रमेश ग्रोवर ने किया ।

रिपोर्ट / अजामिल

सोमवार, 12 फ़रवरी 2018

हमें मिला ईश्वर का उपहार

मेरी बेटी निकिता ने 12 फरवरी 2018 को सुबह 5 17 मिनट पर  एक बहुत ही प्यारे बच्चे को जन्म दिया है यह उपहार पाकर हमारा पूरा परिवार बहुत खुश है इसके आने के बाद गुनगुन को एक भाई मिल गया है गुनगुन बड़ी मगन है और उसकी तस्वीरें उतारने के लिए उतावली भी विशेष परीक्षण के लिए शिशु को नर्सरी में रखा गया है जैसे ही वह अपनी मां के पास आएगा हम सबके लिए वह पल यादगार पल होगा नाजरेथ अस्पताल की एक दीवार पर लिखा हुआ है कि बच्चे मनुष्य को मिलने वाला सर्वोत्तम वरदान है यह पारितोषिक ईश्वर उन्हें देता है जिसे उस पर बहुत भरोसा होता है उस शिशु की यह तस्वीरें नर्सरी की एक नर्स ने शूट की है हमारे लिए यह भी हमेशा याद रखने वाली बात है ।